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22 Jul 2025, Tue

झारखंड में कामकाजी महिलाओं को मिलेगा सुरक्षित ठिकाना: खुलेंगे 7 नए हॉस्टल

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झारखंड-में-कामकाजी-महिला के लिए बड़ी राहत: झारखंड में बनेंगे 7 नए हॉस्टल, रांची को मिले दो

झारखंड की कामकाजी महिलाओं के लिए यह खबर सुकून देने वाली है। देशभर में महिलाओं की सुविधा को ध्यान में रखते हुए केंद्रीय महिला एवं बाल विकास मंत्रालय ने एक अहम फैसला लिया है। मंत्रालय ने देशभर में 1000 वर्किंग वुमन हॉस्टल बनाने का निर्णय लिया है, जिससे सुरक्षित और सस्ती आवास सुविधा मिल सकेगी।

खास बात ये है कि इस योजना के तहत झारखंड में 7 हॉस्टल बनाए जाएंगे, जिनमें से 2 हॉस्टल रांची में होंगे। यह जानकारी केंद्रीय महिला एवं बाल विकास मंत्री अन्नपूर्णा देवी ने रांची में दी।

वे स्मार्ट सिटी के जुपमी भवन में आयोजित एक कार्यक्रम में बोल रही थीं, जहाँ सावित्रीबाई फुले राष्ट्रीय महिला एवं बाल विकास संस्थान के क्षेत्रीय केंद्र का उद्घाटन किया गया। इस अवसर पर मंत्री ने कहा कि सरकार महिलाओं के सामाजिक और आर्थिक सशक्तिकरण को लेकर प्रतिबद्ध है, और ये हॉस्टल उसी दिशा में एक मजबूत कदम हैं।

इन हॉस्टलों से न केवल महिलाओं को सुरक्षित आवास मिलेगा, बल्कि वे अपने काम और करियर पर ध्यान केंद्रित कर सकेंगी—बिना रोज़मर्रा की असुरक्षा या असुविधा की चिंता के।

“केंद्रीय मंत्री ने महिला सशक्तीकरण और बाल विकास के क्षेत्र में मंत्रालय द्वारा किए जा रहे प्रयासों पर प्रकाश डालते हुए बताया कि देश में महिला श्रम बल की भागीदारी उल्लेखनीय रूप से बढ़ी है — जो पहले 23 प्रतिशत थी, वह अब बढ़कर 41.7 प्रतिशत हो गई है।”

सशक्त नारी, सशक्त राष्ट्र: रांची में महिला एवं बाल विकास के नए युग की शुरुआत

केंद्रीय महिला एवं बाल विकास मंत्रालय द्वारा हाल ही में एक ऐतिहासिक पहल की शुरुआत की गई है। रांची में स्थापित किया गया नया क्षेत्रीय प्रशिक्षण एवं अनुसंधान केंद्र न केवल झारखंड बल्कि बिहार, ओडिशा और पश्चिम बंगाल जैसे राज्यों में महिला एवं बाल विकास से जुड़ी प्रमुख योजनाओं के क्रियान्वयन में मील का पत्थर साबित होगा।

16,775 आंगनबाड़ी केंद्र होंगे अपग्रेड

केंद्रीय मंत्री ने जानकारी दी कि सक्षम पोषण योजना के अंतर्गत 16,775 आंगनबाड़ी केंद्रों को आधुनिक सुविधाओं से लैस किया जा रहा है। वहीं, किशोरियों के कौशल विकास के लिए इंडो-जर्मन ऑपरेशन प्रोजेक्ट और नव्या योजना के माध्यम से उन्हें आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में ठोस कदम उठाए जा रहे हैं।

महिला सुरक्षा और बच्चों की मुस्कान – उज्ज्वल भारत की नींव

कार्यक्रम के दौरान केंद्रीय मंत्री ने एक प्रेरणादायक संदेश देते हुए कहा,

“जब हम एक महिला की सुरक्षा और एक बच्चे की मुस्कान को विश्वास में बदलते हैं, तभी हम भारत के उज्ज्वल भविष्य की नींव रखते हैं।”

इस अवसर पर केंद्रीय मंत्री, रक्षा राज्य मंत्री श्री संजय सेठ और महिला एवं बाल विकास राज्य मंत्री श्रीमती सावित्री ठाकुर ने सावित्रीबाई फुले राष्ट्रीय महिला एवं बाल विकास संस्थान के नए लोगो का भी विमोचन किया।

बेटियाँ बदल रही हैं भारत की तस्वीर

रक्षा राज्य मंत्री संजय सेठ ने भारत की बेटियों की उपलब्धियों की सराहना करते हुए कहा,

“ओडिशा की एक गांव की शिक्षिका द्रौपदी मुर्मु का राष्ट्रपति बनना, महिला सशक्तिकरण का जीवंत उदाहरण है।”
उन्होंने बताया कि आज देशभर के सैनिक स्कूलों में 1,612 बेटियाँ पढ़ाई कर रही हैं और सेना में महिलाएँ मेजर और ब्रिगेडियर जैसे पदों तक पहुँच रही हैं।

प्रशिक्षण के साथ होगा अनुसंधान भी

राज्य मंत्री सावित्री ठाकुर ने कहा कि रांची का यह नया केंद्र प्रशिक्षण के साथ-साथ अनुसंधान का भी केंद्र बनेगा। यहां महिला एवं बाल विकास के क्षेत्र में काम कर रहे कर्मियों और अधिकारियों को उच्चस्तरीय प्रशिक्षण प्रदान किया जाएगा। साथ ही अग्रिम पंक्ति के कार्यकर्ताओं को बाल मार्गदर्शन एवं परामर्श में उन्नत डिप्लोमा पाठ्यक्रम भी उपलब्ध होंगे।

सुविधाएँ और भविष्य की योजनाएं

राज्य सरकार ने स्मार्ट सिटी के अंतर्गत इस केंद्र को लीज़ पर जगह दी है, जिसमें फिलहाल 75 प्रतिभागियों की क्षमता वाले दो कक्ष और 78 कमरों का छात्रावास संचालित हो रहा है। स्थायी भवन निर्माण के लिए भूमि की तलाश की जा रही है।

संस्थान का नाम बदला गया

गौरतलब है कि अब राष्ट्रीय सार्वजनिक सहयोग और बाल विकास संस्थान (NIPCCD) का नाम बदलकर सावित्रीबाई फुले राष्ट्रीय महिला और बाल विकास संस्थान कर दिया गया है। इसका मुख्यालय नई दिल्ली में है, जबकि अन्य क्षेत्रीय केंद्र बेंगलुरु, गुवाहाटी, लखनऊ, इंदौर और मोहाली में पहले से कार्यरत हैं।


निष्कर्ष:
सरकार द्वारा की जा रही यह पहल न केवल महिलाओं और बच्चों के जीवन में सकारात्मक बदलाव लाएगी, बल्कि आने वाले समय में एक सशक्त और आत्मनिर्भर समाज के निर्माण की दिशा में भी एक मजबूत कदम साबित होगी। जब बेटियाँ उड़ान भरती हैं, तो पूरा राष्ट्र ऊँचाई छूता है।

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