बिहार कैबिनेट की अहम बैठक: आज नीतीश सरकार ले सकती है बड़े फैसले, प्रतियोगी परीक्षा की फीस और उद्योगों को मुफ्त जमीन पर हो सकती है मुहर
बिहार की राजनीति और प्रशासनिक हलचल पर आज सबकी निगाहें टिकी हुई हैं। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अध्यक्षता में आज कैबिनेट की अहम बैठक होने वाली है, जिसमें कई महत्वपूर्ण प्रस्तावों पर चर्चा होने के साथ-साथ बड़े फैसलों की उम्मीद की जा रही है। खासकर प्रतियोगी परीक्षा की फीस में कटौती और रोजगार सृजन करने वाले उद्योगों को मुफ्त में जमीन देने जैसे प्रस्तावों पर मुहर लग सकती है।
स्वतंत्रता दिवस पर हुए थे बड़े ऐलान
15 अगस्त को स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने अपने भाषण के दौरान कई महत्वपूर्ण घोषणाएँ की थीं। इनमें सबसे प्रमुख घोषणा थी—बिहार के विभिन्न आयोगों द्वारा आयोजित प्रतियोगी परीक्षाओं की फीस घटाकर सिर्फ ₹100 करने की। इस घोषणा ने लाखों बेरोजगार और प्रतियोगी परीक्षा की तैयारी करने वाले युवाओं को राहत दी थी। आज की कैबिनेट बैठक में इस प्रस्ताव पर अंतिम मुहर लगने की संभावना है।
इसके अलावा मुख्यमंत्री ने यह भी संकेत दिया था कि राज्य में ऐसे उद्योगों को बढ़ावा दिया जाएगा जो बड़े पैमाने पर रोजगार सृजन कर सकें। ऐसे उद्योगों को बिहार सरकार मुफ्त में जमीन उपलब्ध कराने की योजना पर विचार कर रही है। इससे राज्य में औद्योगिक निवेश को बढ़ावा मिलेगा और युवाओं के लिए रोजगार के नए अवसर खुलेंगे।
प्रतियोगी परीक्षाओं की फीस घटाने का प्रस्ताव
बिहार में प्रतियोगी परीक्षाओं की फीस लंबे समय से युवाओं के लिए चिंता का विषय रही है। वर्तमान में उम्मीदवारों को अलग-अलग आयोगों और बोर्ड्स की परीक्षाओं के लिए अधिक फीस चुकानी पड़ती है, जिससे आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग के छात्रों पर बोझ बढ़ जाता है।
सीएम नीतीश कुमार ने स्वतंत्रता दिवस पर घोषणा की थी कि अब प्रतियोगी परीक्षाओं की फीस सिर्फ ₹100 रखी जाएगी। आज की कैबिनेट बैठक में इस घोषणा को आधिकारिक रूप से मंजूरी मिलने की पूरी संभावना है। यदि यह प्रस्ताव पारित हो जाता है तो लाखों अभ्यर्थियों को सीधा फायदा मिलेगा।
उद्योगों को मुफ्त जमीन देने का निर्णय
बिहार सरकार का ध्यान अब औद्योगिक विकास पर भी केंद्रित है। राज्य में रोजगार के अवसर बढ़ाने के लिए सरकार उन उद्योगों को प्रोत्साहन देने की योजना बना रही है जो अधिक रोजगार पैदा करें। ऐसे उद्योगों को मुफ्त में जमीन उपलब्ध कराने का प्रस्ताव आज की बैठक में पेश किया जाएगा।
यह कदम बिहार में निवेश का माहौल मजबूत करेगा और साथ ही राज्य के युवाओं के लिए रोजगार की संभावनाओं को भी बढ़ाएगा। नीतीश सरकार का यह फैसला आने वाले समय में बिहार की औद्योगिक तस्वीर बदलने वाला साबित हो सकता है।
हड़ताल पर गए अमीनों की मांगों पर चर्चा
कैबिनेट बैठक का एक और अहम मुद्दा है—राजस्व महाअभियान के दौरान हड़ताल पर गए अमीनों की मांगें। अमीन पिछले तीन दिनों से वेतन वृद्धि समेत कई मांगों को लेकर हड़ताल पर हैं। उनकी इस हड़ताल से राजस्व विभाग का कामकाज प्रभावित हुआ है।
हालांकि, विभाग की ओर से हड़ताल कर रहे अमीनों पर कड़ी कार्रवाई भी की गई है, लेकिन अब सबकी नजर इस बात पर है कि क्या कैबिनेट उनकी मांगों पर कोई राहत देती है या नहीं।
13 अगस्त को हुई थी पिछली बैठक
इससे पहले 13 अगस्त को भी बिहार कैबिनेट की बैठक हुई थी, जिसमें कई विभागीय प्रस्तावों पर चर्चा और फैसले किए गए थे। लेकिन 15 अगस्त को मुख्यमंत्री द्वारा किए गए बड़े ऐलानों को देखते हुए आज की बैठक का महत्व और भी बढ़ गया है।
जनता की उम्मीदें और निगाहें
आज की कैबिनेट बैठक से बिहार की आम जनता और खासकर युवाओं को बड़ी उम्मीदें हैं। प्रतियोगी परीक्षाओं की फीस में कटौती से आर्थिक रूप से कमजोर छात्रों को राहत मिलेगी, वहीं उद्योगों को मुफ्त जमीन देने का प्रस्ताव रोजगार के नए रास्ते खोलेगा।
इसके साथ ही अमीनों की मांगों पर क्या फैसला लिया जाएगा, इस पर भी सभी की निगाहें टिकी हुई हैं।
निष्कर्ष
आज की कैबिनेट बैठक बिहार के लिए बेहद अहम साबित हो सकती है। नीतीश सरकार यदि प्रतियोगी परीक्षा फीस कटौती और उद्योगों को मुफ्त जमीन देने के फैसलों पर मुहर लगा देती है तो यह राज्य के युवाओं और नौकरी चाहने वालों के लिए एक बड़ा तोहफा होगा। साथ ही, हड़ताल पर गए अमीनों को लेकर भी सरकार के रुख पर सबकी नजर है। कुल मिलाकर, यह बैठक राज्य के सामाजिक और आर्थिक परिदृश्य में बड़ा बदलाव ला सकती है।