झारखंड के सरकारी अस्पतालों में मुफ्त वाई-फाई सेवा: डिजिटल हेल्थकेयर की दिशा में क्रांतिकारी कदम
झारखंड सरकार ने स्वास्थ्य सेवा को डिजिटल और अधिक सुलभ बनाने की दिशा में एक ऐतिहासिक फैसला लिया है। राज्य के सभी सरकारी अस्पताल अब जल्द ही वाई-फाई सुविधा से लैस होंगे, जहां मरीजों और उनके परिजनों को मुफ्त इंटरनेट सेवा उपलब्ध कराई जाएगी। यह कदम न सिर्फ स्वास्थ्य सुविधाओं को आधुनिक रूप देगा, बल्कि डिजिटल झारखंड की परिकल्पना को भी मजबूती देगा।
हर मरीज को मिलेगा डिजिटल एक्सेस
राज्य के स्वास्थ्य विभाग ने बीएसएनएल के सहयोग से इस योजना को धरातल पर उतारने की तैयारी पूरी कर ली है। इलाज के लिए अस्पताल आने वाले मरीज और उनके साथ आए परिजन अब वेटिंग टाइम में भी इंटरनेट के माध्यम से जरूरी जानकारी, सरकारी योजनाएं और स्वास्थ्य से जुड़ी डिजिटल सेवाओं का लाभ उठा सकेंगे।
स्वास्थ्य, चिकित्सा शिक्षा एवं परिवार कल्याण विभाग के अपर मुख्य सचिव श्री अजय कुमार ने इस योजना को “डिजिटल हेल्थकेयर” की दिशा में एक बड़ा कदम बताया। उन्होंने कहा, “हम चाहते हैं कि लोग अस्पताल में केवल इलाज के लिए न आएं, बल्कि यहां उन्हें जानकारी, सहयोग और जागरूकता भी मिले। यह सुविधा उन्हें अपने अधिकारों और विकल्पों के बारे में जानने में मदद करेगी।”
तीन चरणों में लागू होगी योजना
इस वाई-फाई योजना को चरणबद्ध तरीके से लागू किया जाएगा:
1. पहला चरण: अगले एक महीने में राज्य के सभी जिला अस्पतालों में मुफ्त वाई-फाई सेवा शुरू कर दी जाएगी।
2. दूसरा चरण: आगामी छह महीने में यह सुविधा सभी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों (CHC) में लागू होगी।
3. तीसरा चरण: अंत में सभी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों (PHC) को भी वाई-फाई से जोड़ा जाएगा।
पारदर्शिता और सेवा में सुधार की उम्मीद
सरकार को उम्मीद है कि इस योजना से स्वास्थ्य सेवाओं में पारदर्शिता बढ़ेगी, साथ ही शिकायत निवारण और मरीज संतुष्टि में भी सुधार होगा। डिजिटल संसाधनों के उपयोग से अस्पतालों के कामकाज में गति आएगी और सेवाओं की गुणवत्ता बेहतर होगी।
डिजिटल झारखंड की नींव मजबूत
यह पहल न केवल स्वास्थ्य क्षेत्र में सुधार की दिशा में कदम है, बल्कि यह झारखंड सरकार की डिजिटल इंडिया और डिजिटल झारखंड जैसी राष्ट्रीय और राज्य स्तरीय योजनाओं को जमीनी स्तर पर लागू करने का प्रमाण है।
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निष्कर्ष: झारखंड सरकार की यह पहल देश के अन्य राज्यों के लिए भी एक मॉडल बन सकती है, जहां तकनीक का उपयोग कर आमजन की जिंदगी को बेहतर और सुविधाजनक बनाया जा सकता है। अस्पताल अब सिर्फ इलाज का केंद्र नहीं, बल्कि डिजिटल जागरूकता का माध्यम भी बनेंगे।